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व्यक्तित्व मापन की प्रक्षेपी विधियां
(Projective Method of Personality)
__________⭐⭐20 Jan 21⭐⭐__
?प्रक्षेपण (Projection)
↪️ *प्रक्षेपण* शब्द का प्रयोग सबसे पहले मनोविश्लेषणवादी *सिगमंड फ्रायड* ने 1849 ईस्वी में किया। जिसका अर्थ होता है – फेंकना।
↪️ यह वह क्रिया है जिसमें प्रत्येक व्यक्ति अपने विचारों, भावनाओं, इच्छाओं, संवेगों आदि का अन्य व्यक्ति या बाह्य जगत के माध्यम से सुरक्षात्मक रूप प्रस्तुत करता है।
? वारेन के अनुसार, “प्रक्षेपण वह प्रकृति है जिसमें व्यक्ति बाह्य जगत में अपने दमित मानसिक प्रक्रिया का प्रक्षेपण करता है।”
↪️व्यक्ति के अचेतन मन में अनेक भावनाएं, इच्छाएं, संवेगात्मक द्वंद आदि दबे रहते हैं जो आप के संतुलन को प्रभावित करते हैं।
↪️प्रक्षेपण विधियों के माध्यम से इन छिपे व्यवहारों का अध्ययन किया जाता है और उन्हें बाहर निकाला जाता है। अर्थात् जैसा व्यक्ति के मन में होता है वह बाह्य वस्तु को वैसे ही देखता है।
?फ्रीमैन के अनुसार , “प्रक्षेपी विधियों का संबंध व्यक्तित्व के अचेतन पक्ष से होता है अर्थात् प्रक्षेपी विधियां व्यक्ति के चेतन व्यक्तित्व से संबंधित सूचना प्रदान करने के अतिरिक्त अचेतन स्तर पर दबी हुई आंतरिक भावनाओं और व्यक्तित्व संरचना का मापन करती है।”
↪️यह व्यक्ति के अचेतन मन का मापन करती है जो संपूर्ण मन का 9/10 होता है।?️?️
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?रोर्शा का स्याही धब्बा परीक्षण
(Rorschach Ink Blot Test)
↪️ स्याही धब्बा परीक्षण के प्रतिपादक ‘स्विट्जरलैंड’ के मनोचिकित्सक *हरमन रोर्शा* ने की।
↪️ इस परीक्षण का निर्माण 1921 ईस्वी में, *3 से 14 वर्ष के बच्चों के लिए* किया गया।
↪️ इस परीक्षण में 10 कार्ड होते हैं जिनपर स्याही के धब्बे बने होते हैं।
जिसमें से :-
⏩5 कार्ड पर : काले एवं सफेद
⏩2 कार्ड पर : लाल एवं काला
⏩3 कार्ड पर : अलग-अलग आकृति बना होता है।
↪️इन कार्ड के माध्यम से व्यक्ति के अचेतन मन की स्थिति की जानकारी प्राप्त होती है।
↪️ जिस व्यक्ति का व्यक्तित्व मापन करना होता है उसे परीक्षणकर्ता एक कार्ड देता है और व्यक्ति उसे देख कर कोई विवरण कहानी प्रस्तुत कर देता है।
↪️ इस परीक्षण के माध्यम से उसकी बुद्धि, सामाजिकता, समायोजन, संवेगात्मक स्थिति, कल्पनाशीलता, अहम की शक्ति आदि पक्षों का अध्ययन किया जाता है।
↪️एक प्रशिक्षित मनोवैज्ञानिक ही उसका अध्ययन कर सकता है।?️?️
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✍️Notes By Awadhesh Kumar ✍️?️?️
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✒️✒️व्यक्तित्व मापन की प्रक्षेपी विधियां✒️✒️
(Projective methods of personality)
?️ प्रक्षेपण (projection)➖
प्रक्षेपण शब्द का प्रयोग सबसे पहले मनोविश्लेषण वादी सिग्मंड फ्रायड ने सन् 1849 में किया था,जिसका अर्थ होता है – फेंकना
यह वो क्रिया है जिसमे प्रत्येक व्यक्ति अपने विचारों ,भावनाओं ,संवेग, इच्छाओं आदि का अन्य व्यक्ति या बाहरी जगत के माध्यम से सुरक्षात्मक रूप प्रस्तुत करता है।
?️वारेन के अनुसार➖”प्रक्षेपण वह प्रवृत्ति है जिसमे व्यक्ति वाह्य जगत में अपनी दमित मानसिक प्रक्रियाओं का प्रक्षेपण करता है।”
?️व्यक्ति के अचेतन मन में अनेक भावनाएं , इच्छाएं ,संवेगतमक द्वंद आदि देव रहते है।जो आपके संतुलन को प्रभावित करते है।
?️प्रक्षेपण विधियों के माध्यम से छिपे व्यवहारों का अध्ययन किया जाता है और उन्हें बाहर निकाला जाता है अर्थात जैसा व्यक्ति के मन में होता है वह वस्तु को वैसा ही देखता है।
?️ फ्रीमैन के अनुसार➖
“प्राक्षेपी विधियों का सम्बन्ध व्यक्तित्व के अचेतन मन से होता है अर्थात प्रक्षेपी विधियां व्यक्ति के अचेतन व्यक्तित्व से सम्बन्धित सूचना प्रदान करने के अतिरिक्त अचेतन स्तर पर दवी हुई आंतरिक भावनाओं और व्यक्तित्व संरचना का मापन करता है।
?यह व्यक्तित्व के अचेतन मन का मापन करता है जो सम्पूर्ण मन का 9/10 होता है।
?️ हरमन रोर्शा स्याही धब्बा परीक्षण
(Rorschach ink bolt test)➖
स्याही धब्बा परीक्षण का प्रतिपादन स्विट्जलैंड के मनोचिकित्सक हरमन रॉर्शा हैं।
?️इन्होंने सन् 1921में परीक्षण का निर्माण किया था।
?️यह परीक्षण 3से4 वर्ष के बच्चों के लिए उपयोगी है।
?️इसमें 10 कार्ड होते हैं जिन पर स्याही के धब्बे बने होते हैं
?जिनमे से :-
?️5 कार्ड पर – काले एवं सफेद रंग की , 2 कार्ड पर – लाल एवं कला रंग की ,3 कार्ड पर – अलग – अलग रंग की आकृति बनी होती हैं।
?️इन कार्ड के माध्यम से व्यक्ति के अचेतन मन की स्थिति की जानकारी प्राप्त होती है।
?️ जिस व्यक्ति का व्यक्तित्व मापन करता है उसे परिक्षणाकर्ता एक कार्ड देता है और व्यक्ति उसे देखकर कोई विवरण कहानी प्रस्तुत करता है
?️इस परीक्षण के माध्यम से उसकी बुद्धि ,सामाजिकता , समायोजन, संवेगत्मक स्थिति, कल्पनाशील ,अहम की शक्ति आदि पक्षों का अध्ययन किया जाता है।
?️एक प्रशिक्षित मनोवैज्ञानिक ही उसका अध्ययन करता है।
✒️✒️आरती सविता ?????
??व्यक्तित्व मापन की प्रक्षेपी विधियां?
(Projective Method of Personality)
??प्रक्षेपण (Projection)??
?”प्रक्षेपण “शब्द का प्रयोग सबसे पहले मनोविश्लेषणवादी “सिगमंड फ्रायड” ने 1849 ईस्वी में किया। जिसका अर्थ होता है :- फेंकना।
?यह वह क्रिया है जिसमें प्रत्येक व्यक्ति अपने विचारों, भावनाओं, इच्छाओं, संवेगों आदि का अन्य व्यक्ति या बाह्य जगत के माध्यम से सुरक्षात्मक रूप प्रस्तुत करता है।
?? वारेन के अनुसार,:- “प्रक्षेपण वह प्रकृति है जिसमें व्यक्ति बाह्य जगत में अपने दमित मानसिक प्रक्रिया का प्रक्षेपण करता है।”
??व्यक्ति के अचेतन मन में अनेक भावनाएं, इच्छाएं, संवेगात्मक द्वंद आदि दबे रहते हैं जो आप के संतुलन को प्रभावित करते हैं।
??प्रक्षेपण विधियों के माध्यम से इन छिपे व्यवहारों का अध्ययन किया जाता है और उन्हें बाहर निकाला जाता है। अर्थात् जैसा व्यक्ति के मन में होता है वह बाह्य वस्तु को वैसे ही देखता है।
??फ्रीमैन के अनुसार , :–“प्रक्षेपी विधियों का संबंध व्यक्तित्व के अचेतन पक्ष से होता है अर्थात् प्रक्षेपी विधियां व्यक्ति के चेतन व्यक्तित्व से संबंधित सूचना प्रदान करने के अतिरिक्त अचेतन स्तर पर दबी हुई आंतरिक भावनाओं और व्यक्तित्व संरचना का मापन करती है।”
??यह व्यक्ति के अचेतन मन का मापन करती है जो संपूर्ण मन का 9/10 होता है।
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??रोर्शा का स्याही धब्बा परीक्षण??
(Rorschach Ink Blot Test)
? स्याही धब्बा परीक्षण के प्रतिपादक “स्विट्जरलैंड”के मनोचिकित्सक “हरमन रोर्शा” ने की।
?? इस परीक्षण का निर्माण 1921 ईस्वी में, “3 से 14 वर्ष के बच्चों के लिए” किया गया।
?? इस परीक्षण में 10 कार्ड होते हैं जिनपर स्याही के धब्बे बने होते हैं।
जिसमें से :-
?5 कार्ड पर : -काले एवं सफेद
?2 कार्ड पर : -लाल एवं काला
?3 कार्ड पर : -अलग-अलग आकृति बना होता है।
??इन कार्ड के माध्यम से व्यक्ति के अचेतन मन की स्थिति की जानकारी प्राप्त होती है।
?? जिस व्यक्ति का व्यक्तित्व मापन करना होता है उसे परीक्षणकर्ता एक कार्ड देता है और व्यक्ति उसे देख कर कोई विवरण कहानी प्रस्तुत कर देता है।
?? इस परीक्षण के माध्यम से उसकी बुद्धि, सामाजिकता, समायोजन, संवेगात्मक स्थिति, कल्पनाशीलता, अहम की शक्ति आदि पक्षों का अध्ययन किया जाता है।
??एक प्रशिक्षित मनोवैज्ञानिक ही उसका अध्ययन कर सकता है।
????manjari soni ????
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*व्यक्तित्व मापन की प्रक्षेपी विधियां*
*( Projective methods of personality )*
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? *प्रक्षेपण(Projection)*
प्रक्षेपण शब्द का प्रयोग सबसे पहले मनोविश्लेषण वादी सिगमंड फ्रायड ने 1849 में किया। इसका अर्थ होता है_ *फेंकना*।
यह वह क्रिया है जिसमें प्रत्येक व्यक्ति अपने विचारों , भावनाओं , इच्छाओं , संवेगों आदि का अन्य व्यक्ति या बाहरी जगत के माध्यम से सुरक्षात्मक रूप प्रस्तुत करता है।
✨ *वारेन के अनुसार*, “प्रक्षेपण वह प्रकृति है जिसमें व्यक्ति बाह्य जगत में अपनी दमित मानसिक प्रक्रियाओं का प्रक्षेपण करता है।”
व्यक्ति के अचेतन मन में अनेक भावनाएं , इच्छाएं , संवेगात्मक द्वंद आदि दबे रहते हैं जो आप के संतुलन को प्रभावित करती है।
प्रक्षेपण विधियों के माध्यम से छिपे व्यवहारों का अध्ययन किया जाता है और उन्हें बाहर निकाला जाता है अर्थात जैसा व्यक्ति के मन में होता है वह बाह्य वस्तु को वैसे ही देखता है।
? *फ्रीमैन के अनुसार*,” प्रक्षेपी विधियों का संबंध व्यक्तित्व के अचेतन पक्ष से होता है अर्थात प्रक्षेपी विधियां व्यक्ति के अचेतन व्यक्तित्व से संबंधित सूचना प्रदान करने के अतिरिक्त अचेतन स्तर पर दबी हुई आंतरिक भावनाओं और व्यक्तित्व संरचना का मापन करती है।”
यह व्यक्तित्व के अचेतन मन का मापन करते हैं। जो संपूर्ण मन का 9/10 होता है।
✨ *हरमन रोर्शा स्याही धब्बा परीक्षण*
*( Rorschach ink blot test )*
✨ स्याही धब्बा परीक्षण का प्रतिपादन स्विट्जरलैंड के मनोचिकित्सक *हर्मन रोर्शा* हैं ।
✨जिन्होंने 1921 में परीक्षण का निर्माण किया था।
✨यह परीक्षण 3 से 14 वर्ष के बच्चों के लिए उपयोगी है।
✨इसमें 10 कार्ड होते हैं।
✨जिनमें से 5 कार्डो पर काले /सफेद
✨2 कार्ड लाल और काले
✨3 कार्डों पर विभिन्न रंग की आकृतियां बनी होती है।
?इन कार्डों के माध्यम से व्यक्ति के अचेतन मन की स्थिति की जानकारी प्राप्त होती है जिस व्यक्ति का व्यक्तित्व मापन करना होता है उससे परीक्षण करता कार्ड देता है और व्यक्ति उसे देख कर कोई विवरण कहानी प्रस्तुत करता है इस परीक्षण के माध्यम से उसकी बुद्धि सामाजिक समायोजन संवेगात्मक स्थिति कल्पनाशीलता अहम की शक्ति आदि पक्षों का अध्ययन किया जाता है एक प्रसिद्ध मनोवैज्ञानिक ही उसका अध्ययन कर सकता है।
*Notes by Shreya Rai*???
? *व्यक्तिक मापन की प्रक्षेपी विधियां ( Projective Methods Of Personality)* ?
✨ *प्रक्षेपण (Projectoin):-*
?? प्रक्षेपण शब्द का प्रयोग सबसे पहले मनोविश्लेषणवादी “सिग्मंड फ्रायड” ने 1849 में किया था।
?? इसका अर्थ होता है,“फेकना” , यह वह क्रिया है, जिसमें प्रत्येक व्यक्ति अपने विचारों, भावनाओं, इच्छाओं, संवेगो आदि का अन्य व्यक्ति या बाह्य जगत के माध्यम से सुरक्षात्मक रूप से प्रस्तुत करता है।
✨ *वारेन के अनुसार:-* “प्रक्षेपण वह प्रवृत्ति है, जिसमें व्यक्ति बाह्य जगत में अपनी दमित मानसिक प्रक्रिया का प्रक्षेपण करता है”।
?? व्यक्ति के अचेतन मन में अनेक भावनाएं, इच्छाएं, संवेगात्मक, द्वंद आदि दबे रहते हैं, जो आपके संतुलन को प्रभावित करते हैं। प्रक्षेपण विधियों के माध्यम से छिपे व्यवहारों का अध्ययन किया जाता है और बाहर निकाला जाता है।
अर्थात जैसा व्यक्ति के मन में होता है, वह बाह्य वस्तु को वैसे ही देखता है।
✨ *फ्रीमेंन के अनुसार:-* “प्रक्षेपी विधियों का संबंध व्यक्तित्व के अचेतन 5 से होता है अर्थात प्रक्षेपी विधियां व्यक्ति के चेतन व्यक्तित्व से संबंधित सूचना प्रदान करने के अतिरिक्त अचेतन स्तर पर दबी हुई आंतरिक भावनाओं और व्यक्तिक संरचना का मापन करती है”।
?? यह व्यक्ति के अचेतन मन का मापन करती है, जो संपूर्ण मन का 9/10 होता है।
? *रोर्शा स्याही धब्बा परीक्षण ( Rarschach Ink bolt test)* ?
?? स्याही धब्बा परीक्षण का प्रतिपादक स्वीटजरलैंड के मनोचिकित्सक “हरमन रॉर्शा ” ने की।
?? 1921 मैं इस परीक्षण का निर्माण किया गया।
?? 3–14 साल के बच्चो के लिए किया गया है।
?? इस परीक्षण में 10 कार्ड होते है।
?? जिसमें से 5 कार्ड पर काले एवं परीक्षण में गत्ते पर स्याही के 10 धब्बे होते थे।
?? 2 कार्ड पर लाल/काला धब्बे होते है।
?? 3 कार्ड पर अलग–अलग आकृतियां बनी होती है ।
?? इन कार्डो के माध्यम से व्यक्ति के अचेतन मन की स्थिति की जानकारी प्राप्त होती है।
जिस व्यक्ति का व्यक्तित्व मापन करना होता है, उससे परीक्षण कर्ता एक कार्ड देता है और व्यक्ति उसे देख कर कोई विवरण कहानी प्रस्तुत कर देता है। इस परीक्षण के माध्यम से जो उसकी बुद्धि सामाजिकता, समायोजन, सम्वेगात्मक , स्थिति, कल्पनाशीलता अहम की शक्ति आदि पक्षों का अध्ययन किया जाता है। एक प्रशिक्षित मनोवैज्ञानिक ही उसका अध्ययन कर सकता है।
✍️✍️✍️ *Notes by–Pooja* ✍️✍️✍️
? व्यक्तित्व मापन की प्रक्षेपी विधियां ? ? *प्रेक्षण (projection )*➖ ➡️ प्रक्षेपण शब्द का प्रयोग सबसे पहले मनोविश्लेषण वादी सिगमंड फ्रायड ने 1849 में किया । ➡️ इसका अर्थ है – फेंकना यह वह क्रिया है जिसमें प्रत्येक व्यक्ति अपने, विचारों ,भावनाओं , इच्छाओं , संवेगो आदि का अन्य व्यक्ति या वाहृय जगत के माध्यम से सुरक्षात्मक रूप प्रस्तुत करता है । *वारेन के अनुसार*➖ प्रक्षेपण वह प्रवृत्ति है जिसमें व्यक्ति वाहृय जगत में अपनी दमित मानसिक प्रक्रिया का प्रक्षेपण करता है। व्यक्ति के अचेतन मन में अनेक भावनाएं ,इच्छाएं ,संवेगात्मक द्वंद आदि दबे रहते हैं जो आप के संतुलन को प्रभावित करते हैं । अर्थात जैसा व्यक्ति के मन में होता है वह वाहृय वस्तु को वैसे ही देखता है । *”फ्रीमेन” के अनुसार*➖ प्रक्षेपी विधियों का संबंध व्यक्तित्व के अचेतन पक्ष से होता है अर्थात प्रक्षेपी विधियां व्यक्ति के चेतन व्यक्तित्व से संबंधित सूचना प्रदान करने के अतिरिक्त अचेतन स्तर पर दबी हुई आंतरिक भावनाओं और व्यक्तित्व संरचना का मापन करती है। यह व्यक्ति के अचेतन मन का मापन करती है जो संपूर्ण मन का 9 /10 होता है। 1️⃣ *Rorschach Ink Bolt Test { रोर्शा स्याही धब्बा परीक्षण }*➖ ➡️ स्याही धब्बा परीक्षण का प्रतिपादन स्विट्जरलैंड के मनोचिकित्सक हर्मन रोर्शा ने की । ➡️ सन् 1921में इस परीक्षण का निर्माण किया गया । ➡️ 13-14 साल के बच्चों के लिए किया जाता है। ➡️ इस परीक्षण में 10 कार्ड होते हैं । ? 5 कार्ड पर काले एवं परीक्षण में गत्ते पर स्याही के 10 धब्बे होते हैं ➡️ 2 कार्ड पर लाल / काला ➡️ 3 कार्ड पर अलग-अलग आकृति। इन कार्ड के माध्यम से व्यक्ति के अचेतन मन की स्थिति की जानकारी प्राप्त होती है। जिस व्यक्ति का व्यक्तित्व मापन करना होता है उसे परीक्षण करता एक कार्ड देता है और व्यक्ति उसे देख कर कोई विवरण कहानी प्रस्तुत कर देता है इस परीक्षण के माध्यम से उसकी बुद्धि, सामाजिकता, समायोजन , संवेगात्मक स्थिति ,कल्पनाशीलता , अहम की शक्ति, आदि पक्षों का अध्ययन किया जाता है । एक प्रशिक्षित मनोवैज्ञानिक ही उसका अध्ययन कर सकता हैं। धन्यवाद ✍️✍️✍️ Notes by Pragya Shukla…….
? व्यक्तित्व मापन की प्रक्षेपी विधियां?
(Projective methods of personality)
?प्रक्षेपण (Projection) ➖
प्रक्षेपण शब्द का प्रयोग सबसे पहले मनोविश्लेषणवादी सिगमंड फ्रायड ने 1849 में किया |
इसका अर्थ होता है ” फेंकना ”
यह वह प्रक्रिया है जिसमें प्रत्येक व्यक्ति अपने विचारों भावनाओं इच्छाओं संवेगो आदि का अन्य व्यक्ति या बाह्य जगत के माध्यम से सुरक्षात्मक उपाय प्रस्तुत करता है |
?वारेन के अनुसार ➖ प्रक्षेपण वह प्रवृत्ति है जिसमें व्यक्ति बाह्य जगत में अपनी दमित मानसिक प्रक्रिया का प्रक्षेपण करता है |
?व्यक्ति के अचेतन मन में अनेक भावनाएं इच्छाएं संवेगात्मक द्वंद आदि दबे रहते है जो आपके संतुलन को प्रभावित करते हैं |
प्रक्षेपण विधियों के माध्यम से इन छुपे व्यवहारों का अध्ययन किया जाता है और उन्हें बाहर निकाला जाता है अर्थात् जैसा व्यक्ति के मन में होता है वह बाह्य वस्तु को वैसा ही देखता है |
?फ्रीमेन के अनुसार ➖ प्रक्षेपी विधियों का संबंध व्यक्तित्व के अचेतन पक्ष से होता है अर्थात प्रक्षेपी विधियां व्यक्ति के चेतन व्यक्तित्व से संबंधित सूचना प्रदान करने के अतिरिक्त अचेतन स्तर पर दबी हुई आंतरिक भावनाओं और व्यक्तित्व संरचना का मापन करती है |
यह व्यक्ति के अचेतन मन का मापन करती हैं जो संपूर्ण मन का 9/10 होता है |
?1. Rorschach Ink Bolt test :-
रोर्शा स्याही धब्बा परीक्षण ➖ स्याही धब्बा परीक्षण का प्रतिपादन स्विट्जरलैंड की मनो चिकित्सक हरमन रोर्शा ने किया |
? 1921 में इस परीक्षण का निर्माण किया गया |
?3-14 साल के बच्चे के लिए किया गया |
?इस परीक्षण में 10 कार्ड हैं |
?5 कार्ड पर काले एवं परीक्षण में गत्ते पर स्याही के 10 धब्बे होते हैं |
?2 कार्ड पर लाल / काला
?3 कार्ड पर अलग-अलग आकृति
?इन कार्ड के माध्यम से व्यक्ति के अचेतन मन की स्थिति की जानकारी प्राप्त होती है |
?जिस व्यक्ति का व्यक्तित्व मापन करना होता है उसे परीक्षण कर्ता एक कार्ड देता है और व्यक्ति उसे देखकर कोई विवरण कहानी प्रस्तुत कर देता है इस परीक्षण के माध्यम से उसकी सामाजिकता समायोजन संवेगात्मक स्थिति कल्पनाशीलता अहम की शक्ति आदि पक्षों का अध्ययन किया जाता है एक प्रशिक्षित मनोवैज्ञानिक कि उसका अध्ययन कर सकता है |
Notes bye ➖ Ranjana Sen
? व्यक्तिगत मापन की प्रक्षेपी (projective methods of personality)?
?प्रक्षेपण (projection)
✍? प्रक्षेपण शब्द का प्रयोग सबसे पहले मनोवैज्ञानिक ??♂ सिगमंड फ्रायड ने 1849 नहीं किया था।
✍? इसका अर्थ होता है फेंकना
यह क्रिया है, जिसमें प्रत्येक व्यक्ति अपने विचारों, भावनाओं, इच्छाओं, संवेगों आदि का अध्ययन व्यक्ति या बाहा जगत के माध्यम से सुरक्षात्मक रूप प्रस्तुत करता है।
?वारेन के अनुसार➖ प्रक्षेपण वह प्रक्रिया है जिसमें व्यक्ति वाह्य जगत में अपनी दमित मानसिक प्रक्रिया का प्रक्षेपण करता है।
✍? व्यक्ति के अचेतन मन में अनेक भावनाएं, इच्छाएं, संवेगात्मक द्वंद आदि दबे रहते हैं जो आपके संतुलन को प्रभावित करते है।
✍?प्रक्षेपण विधियों के माध्यम से छिपे व्यवहारों का अध्ययन किया जाता है और उन्हें बाहर निकाला जाता है।
अर्थात जैसा व्यक्ति के मन में होता है वह वह वस्तुओं को वैसा ही देखता है।
?फ्रीमैन के अनुसार➖ प्रक्षेपी विधियों का संबंध व्यक्तिगत के अचेतन पक्ष से होता है।
अर्थात प्रक्षेपी विधियां व्यक्तियों के चेतन व्यक्तित्व से संबंधित सूचना प्रदान करने के अतिरिक्त अचेतन स्तर पर दबी आंतरिक भावनाओं और व्यक्तित्व संरचना का मापन करती है।
✍? यह व्यक्ति के अचेतन मन का मापन करती है संपूर्ण मन का 9/10 होता है।
? रोर्शा स्याही धब्बा परीक्षण
(Rorschach ink blot test)
✍? इस परीक्षण का निर्माण 1921 में एक स्विट्जरलैंड के मनोचिकित्सक हरमन रोर्शा ने किया।
✍? 3 से 14 साल तक के बच्चों के लिए यह परीक्षण किया जाता है।
✍? इस परीक्षण में 10 कार्ड होते हैं 5 कार्ड पर काले एवं परीक्षण में गत्ते पर स्याही के दाग धब्बे होते हैं।
✍? दो कार्ड पर लाल / काला धब्बे होते हैं।
✍? 3 कार्ड पर अलग-अलग आकृति होती है। मन की स्थिति की जानकारी प्राप्त होती है।
✍?जिस व्यक्ति का व्यक्तित्व मापन करना होता है उसे परीक्षण करता एक काट देता है और व्यक्ति उसे लगाकर कोई विवरण कहानी प्रस्तुत कर देता है इस परीक्षण के माध्यम से उसकी बुद्धि, सामाजिकता, समायोजन, संवेगात्मक स्थिति, कल्पनाशीलता अहम की शक्ति आदि पक्षों का अध्ययन किया जाता है।
✍? एक प्रशिक्षित मनोवैज्ञानिक ही उसका अध्ययन कर सकता है
✍? इस परीक्षण से मानसिक रोगी का निदान व उपचार किया जाता है।
✍??? Notes by….. Sakshi Sharma
??✍?
?? व्यक्तित्व मापन की प्रक्षेपी विधियां ??
?Projective Methods Of Personality?
? प्रक्षेपण :-
प्रक्षेपण शब्द का सर्वप्रथम प्रयोग मनोविश्लेषणवादी सिग्मंड फ्रायड ने 1849 में किया था।
प्रक्षेपण का अर्थ होता है :- फेंकना
अर्थात् प्रक्षेपण वह क्रिया है जिसमें प्रत्येक व्यक्ति अपने विचारों , भावनाओं , इच्छाओं , संवेगों आदि का अन्य व्यक्ति या बाह्य जगत के माध्यम से सुरक्षात्मक रूप प्रस्तुत करता है।
? वारेन के अनुसार :-
प्रक्षेपण वह प्रवृत्ति है जिसमें व्यक्ति बाह्य जगत में अपनी दमित मानसिक प्रक्रिया का प्रक्षेपण करता है।
व्यक्ति के अचेतन मन में अनेक भावनाएं , इच्छाएं , संवेगात्मक द्वंद आदि दबे रहते हैं जो उनके संतुलन को प्रभावित करते हैं।
प्रक्षेपण विधियों के माध्यम से इन (दबे) छुपे व्यवहारों का अध्ययन किया जाता है और उन्हें बाहर निकाला जाता है।
अर्थात जैसा व्यक्ति का मन में होता है वह बाह्यवस्तु को वैसे ही देखता है।
? फ्रीमैन के अनुसार :-
प्रक्षेपी विधियों का संबंध व्यक्तित्व के अचेतन पक्ष से होता है।
अर्थात प्रक्षेपी विधियां व्यक्ति के चेतन व्यक्तित्व से संबंधित सूचना प्रदान करने के अतिरिक्त अचेतन स्तर पर दबी हुई आंतरिक भावनाओं और व्यक्तित्व संरचना का मापन करती हैं।
यह व्यक्ति के अचेतन मन का मापन करती हैं जो संपूर्ण मन का ” *9/10* ” होता है।
? निम्नलिखित विधियां हैं :-
♣️ *हरमन रोर्शाक स्याही धब्बा परीक्षण ♣️*
? ♣️ *Ink – Blot Test* *[ I. B. T. ]* ♣️?
प्रतिपादक
स्विट्जरलैंड के मनोचिकित्सक ” हरमन रोर्शाक ”
परीक्षण का निर्माण किया :-
सन् 1921 में
इस परीक्षण का प्रयोग किया जाता है :-
3 – 14 वर्ष के बच्चों पर
इस परीक्षण में प्रयोग किये जाने बाले , गत्ते के कार्डों पर स्याही के धब्बे लगे हुये कुल 10 कार्ड होते हैं , जिसमें से :-
5 कार्डों पर :- काले रंग के स्याही के धब्बे
2 कार्डों पर :- काले व लाल रंग के स्याही के धब्बे तथा
3 कार्डों पर :- अनेक रंगों के स्याही के धब्बे लगे होते हैं।
इन कारणों के माध्यम से व्यक्ति के अचेतन मन की स्थिति की जानकारी प्राप्त होती है।
जिन व्यक्तियों (बच्चों) का व्यक्तित्व मापन करना होता है उन्हें परीक्षण कर्ता एक कार्ड देता और व्यक्ति / बच्चे उसे देखकर कोई विवरण कहानी प्रस्तुत कर देते हैं उस परीक्षण के माध्यम से उसकी बुद्धि सामाजिकता , समायोजन , संवेगात्मक स्थिति , कल्पनाशीलता , अहम की शक्ति आदि पक्षों का अध्ययन किया जाता है।
एक प्रशिक्षित मनोवैज्ञानिक ही उसका अध्ययन कर सकता है।
*क्रो & क्रो के अनुसार :* –
धब्बों की व्याख्या करके परीक्षार्थी अपने व्यक्तित्व का संपूर्ण चित्र प्रस्तुत कर देता है।
?✒️ Notes by – जूही श्रीवास्तव ✒️?
? *व्यक्तित्व मापन की प्रक्षेपी विधियां*➖
(Projective Methods Of Personality)
? प्रक्षेपण :-
प्रक्षेपण शब्द का सर्वप्रथम प्रयोग मनोविश्लेषणवादी सिग्मंड फ्रायड ने 1849 में किया था।
प्रक्षेपण का अर्थ होता है :- फेंकना
अर्थात् प्रक्षेपण वह क्रिया है जिसमें प्रत्येक व्यक्ति अपने विचारों , भावनाओं , इच्छाओं , संवेगों आदि का अन्य व्यक्ति या बाह्य जगत के माध्यम से सुरक्षात्मक रूप प्रस्तुत करता है।
? वारेन के अनुसार :-
प्रक्षेपण वह प्रवृत्ति है जिसमें व्यक्ति बाह्य जगत में अपनी दमित मानसिक प्रक्रिया का प्रक्षेपण करता है।
व्यक्ति के अचेतन मन में अनेक भावनाएं , इच्छाएं , संवेगात्मक द्वंद आदि दबे रहते हैं जो उनके संतुलन को प्रभावित करते हैं।
प्रक्षेपण विधियों के माध्यम से इन (दबे) छुपे व्यवहारों का अध्ययन किया जाता है और उन्हें बाहर निकाला जाता है।
अर्थात जैसा व्यक्ति का मन में होता है वह बाह्यवस्तु को वैसे ही देखता है।
? फ्रीमैन के अनुसार :-
प्रक्षेपी विधियों का संबंध व्यक्तित्व के अचेतन पक्ष से होता है।
अर्थात प्रक्षेपी विधियां व्यक्ति के चेतन व्यक्तित्व से संबंधित सूचना प्रदान करने के अतिरिक्त अचेतन स्तर पर दबी हुई आंतरिक भावनाओं और व्यक्तित्व संरचना का मापन करती हैं।
यह व्यक्ति के अचेतन मन का मापन करती हैं जो संपूर्ण मन का ” *9/10* ” होता है।
निम्नलिखित विधियां हैं :-
? *हरमन रोर्शाक स्याही धब्बा परीक्षण*
? *Ink – Blot Test* *[ I.B.T.]
प्रतिपादक
स्विट्जरलैंड के मनोचिकित्सक ” हरमन रोर्शाक ”
*परीक्षण का निर्माण किया* :-
सन् 1921 में
इस परीक्षण का प्रयोग किया जाता है :-
3 – 14 वर्ष के बच्चों पर
इस परीक्षण में प्रयोग किये जाने बाले , गत्ते के कार्डों पर स्याही के धब्बे लगे हुये कुल 10 कार्ड होते हैं , जिसमें से :-
5 कार्डों पर :- काले रंग के स्याही के धब्बे
2 कार्डों पर :- काले व लाल रंग के स्याही के धब्बे तथा
3 कार्डों पर :- अनेक रंगों के स्याही के धब्बे लगे होते हैं।
इन कारणों के माध्यम से व्यक्ति के अचेतन मन की स्थिति की जानकारी प्राप्त होती है।
जिन व्यक्तियों (बच्चों) का व्यक्तित्व मापन करना होता है उन्हें परीक्षण कर्ता एक कार्ड देता और व्यक्ति / बच्चे उसे देखकर कोई विवरण कहानी प्रस्तुत कर देते हैं उस परीक्षण के माध्यम से उसकी बुद्धि सामाजिकता , समायोजन , संवेगात्मक स्थिति , कल्पनाशीलता , अहम की शक्ति आदि पक्षों का अध्ययन किया जाता है।
एक प्रशिक्षित मनोवैज्ञानिक ही उसका अध्ययन कर सकता है।
*क्रो & क्रो के अनुसार :* –
धब्बों की व्याख्या करके परीक्षार्थी अपने व्यक्तित्व का संपूर्ण चित्र प्रस्तुत कर देता है।
✍️
*Notes by – Vaishali Mishra*